Govt Office CCTV: गाजियाबाद जिला मुख्यालय के हर सरकारी दफ्तर को जल्द ही सीसीटीवी कैमरों की निगरानी में लाया जाएगा. इन कैमरों के जरिए दफ्तरों में काम करने वाले कर्मचारियों से लेकर वहां आने वाले फरियादियों तक पर नजर रखी जाएगी. खास बात यह है कि इन सभी दफ्तरों की निगरानी सीधे जिलाधिकारी (डीएम) और अपर जिलाधिकारी (एडीएम) स्तर से होगी. इसके लिए जिला मुख्यालय में सर्वेक्षण शुरू कर दिया गया है.
ई-ऑफिस बनने की ओर बढ़ा जिला मुख्यालय
जिला प्रशासन मुख्यालय को जल्द ही ई-ऑफिस में तब्दील करने की योजना बना रहा है. इसके तहत हर विभाग की टेबल पर वाई-फाई कनेक्शन होगा और सभी कार्यालयों को पूरी तरह से पेपरलेस बनाया जाएगा. अधिकारी अब अपनी टेबल पर लगे कंप्यूटर के जरिये ही काम करेंगे. इस पहल के तहत सभी सरकारी दफ्तरों में सीसीटीवी कैमरे भी लगाए जाएंगे, जिससे प्रशासनिक कार्यों में पारदर्शिता बढ़ाई जा सके.
100 से अधिक कैमरे लगाए जाएंगे
सूत्रों के अनुसार, जिला मुख्यालय में 100 से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे. इन कैमरों के जरिये न केवल अधिकारियों और कर्मचारियों की गतिविधियों पर नजर रखी जाएगी. बल्कि दफ्तरों में आने वाले फरियादियों की भी निगरानी की जाएगी. जिला प्रशासन का मानना है कि इस पहल से सरकारी कार्यों में पारदर्शिता आएगी और भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने में मदद मिलेगी.
फरियादियों की आवाजाही पर रहेगी नजर
किसी भी फरियादी के जिला मुख्यालय में प्रवेश करने के बाद उसकी गतिविधियों को मॉनीटर किया जाएगा. वह किन-किन दफ्तरों में गया. वहां कितनी देर रुका और कब वापस निकला. इन सभी जानकारियों की निगरानी होगी. इससे किसी भी अधिकारी पर अनावश्यक आरोप लगाने की प्रवृत्ति पर भी अंकुश लगेगा.
कर्मचारियों की उपस्थिति पर निगरानी
अक्सर जिला मुख्यालय में आने वाले फरियादी शिकायत करते हैं कि दफ्तर में कर्मचारी अपनी सीट पर मौजूद नहीं होते हैं, जिससे उन्हें बार-बार चक्कर लगाने पड़ते हैं. सीसीटीवी कैमरे लगने के बाद यह स्पष्ट हो जाएगा कि कर्मचारी अपनी सीट पर हैं या नहीं. इससे न केवल कर्मचारियों की कार्यशैली में सुधार होगा. बल्कि फरियादियों को भी झूठे आरोप लगाने का अवसर नहीं मिलेगा.
भ्रष्टाचार पर लगेगा अंकुश
जिला प्रशासन को अक्सर शिकायतें मिलती हैं कि सरकारी दफ्तरों में कर्मचारियों द्वारा कार्य करने के बदले रिश्वत की मांग की जाती है. सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने के बाद इस तरह की गतिविधियों पर भी अंकुश लगेगा. फरियादियों और कर्मचारियों के बीच होने वाले सभी लेन-देन रिकॉर्ड होंगे, जिससे भ्रष्टाचार पर रोकथाम संभव हो सकेगी.
सीसीटीवी कैमरों की मॉनीटरिंग जिलाधिकारी करेंगे
इन सभी सीसीटीवी कैमरों की निगरानी जिलाधिकारी और अपर जिलाधिकारी स्वयं करेंगे. इससे सरकारी कार्यों में पारदर्शिता बढ़ेगी और कोई भी व्यक्ति अनुचित कार्यों में लिप्त नहीं हो पाएगा. अधिकारी इस पहल को एक बड़ी उपलब्धि के रूप में देख रहे हैं, जो सरकारी कामकाज में पारदर्शिता लाने और भ्रष्टाचार को समाप्त करने में मददगार होगी.
कार्यक्षमता में आएगा सुधार
जिलाधिकारी दीपक मीणा का कहना है कि “जिला मुख्यालय में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने के बाद सरकारी कार्यों में तेजी आएगी और पारदर्शिता बनी रहेगी. कर्मचारियों और फरियादियों पर नजर रखी जा सकेगी. जिससे बिना वजह के आरोप-प्रत्यारोप की स्थिति पर भी नियंत्रण किया जा सकेगा.”
डिजिटल ट्रांजिशन से बदलेगी कार्यशैली
ई-ऑफिस प्रणाली लागू होने के बाद सरकारी कार्यों में कागजी प्रक्रिया कम हो जाएगी और सभी दस्तावेज डिजिटल रूप में सुरक्षित रखे जाएंगे. इससे प्रशासनिक कार्यों में तेजी आएगी और किसी भी विभाग से संबंधित जानकारी आसानी से उपलब्ध हो सकेगी.
सरकारी सेवाओं की गुणवत्ता में सुधार
इस नई प्रणाली से सरकारी सेवाओं की गुणवत्ता में सुधार आएगा. कर्मचारियों की जवाबदेही सुनिश्चित होने से आम जनता को अधिक पारदर्शी और प्रभावी सेवाएं मिल सकेंगी. साथ ही सरकारी दफ्तरों में व्याप्त अनियमितताओं को दूर करने में भी यह प्रणाली कारगर साबित होगी.