महाकुंभ स्नान करने जा रहे है तो कौनसा स्टेशन पड़ेगा पास, प्रयागराज का ये रेल्वे स्टेशन है बेहद पास Mahakumbh Train Services

WhatsApp ग्रुप ज्वाइन करे Join Now

Mahakumbh Train Services: प्रयागराज महाकुंभ 2025 दुनिया के सबसे बड़े धार्मिक आयोजनों में से एक है, जहां हर बार लाखों-करोड़ों श्रद्धालु और सैलानी पहुंचते हैं. यह आयोजन हर 12 साल बाद होता है और इसके लिए पूरी तैयारी पहले से करना बेहद जरूरी है. इस बार महाकुंभ का आयोजन 13 जनवरी से शुरू होगा. यदि आप भी इस ऐतिहासिक और पवित्र मेले में शामिल होना चाहते हैं, तो आज हम आपको प्रयागराज महाकुंभ तक पहुंचने और अपनी यात्रा की योजना बनाने की पूरी जानकारी देंगे.

महाकुंभ 2025 आस्था और श्रद्धा का संगम

प्रयागराज महाकुंभ हिंदू धर्म का एक पवित्र आयोजन है. जहां गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती नदियों के संगम पर स्नान करने का महत्व है.

  • आध्यात्मिक महत्व: इस मेले में शामिल होने से व्यक्ति के पापों का नाश और मोक्ष की प्राप्ति होती है.
  • वैश्विक आकर्षण: यह आयोजन न केवल भारतीयों बल्कि विदेशी श्रद्धालुओं और पर्यटकों को भी अपनी ओर आकर्षित करता है.

ट्रेन से प्रयागराज तक कैसे पहुंचे?

ट्रेन से यात्रा करना महाकुंभ तक पहुंचने का सबसे सस्ता और सुविधाजनक तरीका है.

यह भी पढ़े:
10 Incredibly Valuable Coins The Top 10 Rarest and Most Valuable Coins in the World, Hidden Gems of Numismatic History
  • प्रयागराज जंक्शन: यह प्रमुख रेलवे स्टेशन है जो लगभग हर बड़े शहर से जुड़ा है.
  • विशेष ट्रेनें: रेलवे ने महाकुंभ के लिए विशेष ट्रेन सेवाएं शुरू की हैं, जो देश के कोने-कोने से श्रद्धालुओं को लेकर आएंगी.

प्रयागराज के प्रमुख रेलवे स्टेशन

प्रयागराज में आठ रेलवे स्टेशन हैं. जहां से आप मेला क्षेत्र तक आसानी से पहुंच सकते हैं.

  • प्रयागराज जंक्शन
  • प्रयागराज रामबाग
  • प्रयाग घाट
  • नैनी जंक्शन
  • प्रयागराज छिवकी
  • दारागंज
  • सूबेदारगंज
  • बमरौली

प्रमुख शहरों से ट्रेनें

  • दिल्ली: प्रयागराज एक्सप्रेस, दुरंतो एक्सप्रेस, हमसफर एक्सप्रेस.
  • मुंबई: महानगरी एक्सप्रेस, कामायनी एक्सप्रेस.
  • कोलकाता: हावड़ा एक्सप्रेस.
  • चेन्नई: गंगा कावेरी एक्सप्रेस.

स्टेशन से मेला क्षेत्र तक की यात्रा

रेलवे स्टेशन से मेला स्थल तक पहुंचने के लिए कई साधन उपलब्ध हैं.

  • ई-रिक्शा और ऑटो: यह सस्ते और सुविधाजनक विकल्प हैं.
  • बस सेवा: स्थानीय बसें भी आपको मेला स्थल तक ले जाएंगी.

सड़क मार्ग से यात्रा

सड़क मार्ग से प्रयागराज पहुंचना एक आसान और लचीला विकल्प है.

यह भी पढ़े:
aaj 22 march 2025 ko sona chandi ka taja bhav ईद से पहले सोने की कीमतों में गिरावट, जाने 24 कैरेट सोने का ताजा भाव Gold Silver Price Today
  • राष्ट्रीय राजमार्ग: प्रयागराज प्रमुख शहरों से राष्ट्रीय राजमार्गों के जरिए जुड़ा हुआ है.
  • बस और कार: बस और निजी कार के जरिए आप आरामदायक यात्रा कर सकते हैं.

दिल्ली से प्रयागराज

  • दूरी: करीब 700 किमी.
  • समय: लगभग 11 घंटे.
  • रूट: एनएच 19.

अन्य प्रमुख शहरों से दूरी

  • लखनऊ: 200 किमी (4-5 घंटे, एनएच 30).
  • वाराणसी: 120 किमी (3 घंटे).
  • कानपुर: 200 किमी (4-5 घंटे).

सड़क मार्ग से यात्रा के दौरान आप रास्ते में पड़ने वाले सुंदर नजारों का आनंद भी ले सकते हैं.

यह भी पढ़े:
अप्रैल महीने में रहेगी छुट्टियों की भरमार, इतने दिन स्कूल,कॉलेज और दफ्तर रहेंगे बदन Public Holiday

हवाई यात्रा से कैसे पहुंचे?

अगर आप जल्दी और आरामदायक यात्रा चाहते हैं, तो हवाई मार्ग भी एक अच्छा विकल्प है.

  • प्रयागराज का हवाई अड्डा: बमरौली हवाई अड्डा देश के प्रमुख शहरों से जुड़ा हुआ है.
  • निकटतम हवाई अड्डे: लखनऊ और वाराणसी हवाई अड्डे भी नजदीक हैं, जहां से सड़क या ट्रेन के जरिए प्रयागराज पहुंचा जा सकता है.

आवास और ठहरने की व्यवस्था

महाकुंभ जैसे विशाल आयोजन में पहले से ठहरने की योजना बनाना बहुत जरूरी है.

  • सरकारी टेंट सिटी: सरकार ने श्रद्धालुओं के लिए टेंट सिटी की व्यवस्था की है.
  • धर्मशालाएं और आश्रम: कई धार्मिक संगठन और आश्रम मुफ्त या रियायती दरों पर आवास उपलब्ध कराते हैं.
  • होटल और लॉज: निजी होटलों और गेस्ट हाउस में भी ठहरने की सुविधा मिल सकती है.

महाकुंभ यात्रा की योजना क्यों है महत्वपूर्ण?

महाकुंभ जैसे बड़े आयोजन में यात्रा की योजना पहले से बनाना आपकी यात्रा को आरामदायक और यादगार बना सकता है.

यह भी पढ़े:
Dearness Allowance सरकारी कर्मचारियों को मिला बड़ा तोहफा, बैंक खाते में आएगा 6800 का बोनस Dearness Allowance
  • आवश्यकता की चीजें साथ रखें: ठंड के मौसम और भीड़ को देखते हुए अपनी जरूरत की सभी चीजें जैसे गर्म कपड़े, दवाइयां और सूखा खाना साथ ले जाएं.
  • यातायात की भीड़: महाकुंभ में भारी संख्या में लोग पहुंचते हैं। जिससे ट्रेन और बस सेवाओं में भीड़ बढ़ जाती है.
  • ठहरने की कमी: समय पर बुकिंग न होने पर ठहरने में समस्या हो सकती है.